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पहले आपको यह समझना पड़ेगा कि धर्म बनता कैसे है? जब यह दुनिया बनी थे न उसको कोई भी धर्म नहीं होता था. आज की लेड़ में हमने बहुत सारे ऐसे गुरूस को देखा होगा जिनकी पिच्चस लोग अपने घरों में लगा के रखते हैं. और जो लोग उनके फालोवर होते हैं जब इनके दो या तीन जनरेशन क्रॉस करेंगी तो उसके बाद जनरेशन आएगी न वो यह कहना चुरू करेंगे यह हमारे गुरू थे क्या यह हमारे भगवान थे. इस तरह आने वले टाइम ते न नय नय धर्म क्रियेट होने चुरू